गणेश लाल रैगर (एस.आई., सीमा सुरक्षा बल) की ड्यूटी के दौरान तबीयत खराब होने पर सैनिक अस्पताल में इलाज के दौरान मौत
दिल्ली, समाजहित एक्सप्रेस (रघुबीर सिंह गाड़ेगांवलिया) l गणेश लाल रैगर (एस.आई., सीमा सुरक्षा बल) पश्चिम बंगाल के कूचबिहार में गुरुवार को ड्यूटी के दौरान अचानक उनकी तबीयत खराब होने पर सैनिक साथियों ने सैनिक अस्पताल पहुंचाया, जहां इलाज के दौरान मौत हो गई । केकड़ी के पैतृक गांव देवगांव में पार्थिव शरीर का सैन्य सम्मान के साथ अंतिम संस्कार किया गया ।
प्राप्त जानकारी के मुताबिक शहीद के पैतृक गांव देवगांव से शाम को अन्तिम यात्रा निकाली गई जिसमें बडी संख्या में क्षेत्रवासी शामिल हुए । शहीद के घर से लेकर श्मशान घाट तक अन्तिम यात्रा में ऐसा मंजर था कि लोगों के आंखो में आंसू तो थे मगर आंखो में अपने क्षेत्र के सेना के वीर शहीद जवान के प्रति एक गर्व की अनुभूति भी साफ दृष्टि गोचर हो रही थी । श्मशान घाट पर शहीद गणेशलाल के दोनो पुत्रो ने शहीद को मुखाग्नि देकर अन्तिम विदाई दी । इससे पूर्व शहीद को सैन्य सलामी दी गई तथा बीएसएफ के अधिकारियो ने शहीद के तिरंगे में लिपटे पार्थिव शरीर पर पुष्प चक्र चढाकर श्रद्धाजंलि दी । वहीं इस मौके पर पुलिस उपअधीक्षक खींव सिंह, तहसीलदार रामकल्याण मीणा, थानाधिकारी राजवीर सिंह, पूर्व विधायक शत्रुघ्न गौतम, ब्लॉक कांग्रेस कमेटी अध्यक्ष शैलेन्द्र सिंह शक्तावत, पालिकाध्यक्ष कमलेश साहू, पूर्व पालिकाध्यक्ष अनिल मित्तल, सदारा सरपंच गोविन्द जैन, पूर्व सरपंच करणजीत सिंह, उपप्रधान राजू धाकड सहित सैकडो लोगो ने शहीद को श्रद्धाजंलि दी, जिसके बाद भारत माता के जयकारो के बीच राजकीय सम्मान के साथ अन्तिम संस्कार किया गया ।
1970 में जन्में गणेश लाल 1990 में बीएसएफ में कॉन्स्टेबल के पद पर भर्ती हुए थे । 32 साल से सीमा सुरक्षा बल में देश के प्रति अपना फर्ज निभा रहे थे । इस दौरान हैड कॉन्स्टेबल, लांस नायक, नायक तक पहुंचे और हाल ही के महीनो में गणेशलाल का एसआई के पद पर प्रमोशन भी हुआ था l गुरुवार को पश्चिम बंगाल के कूचबिहार में ड्यूटी के दौरान ही अचानक उनकी तबीयत खराब हो गई थी जिन्हें सैनिक अस्पताल भर्ती कराया गया था, जहां इलाज के दौरान मौत हो गई । शुक्रवार को सेना के जवानों ने सलामी देकर रात को हवाई जहाज से जवान की पार्थिव देह को जयपुर एयरपोर्ट के लिए रवाना की । जयपुर सेना के वाहन के जरिए देवगांव लाया गया । जानकारी के अनुसार शहीद गणेश लाल पत्नी और 3 बच्चों के साथ कूचबिहार ही रह रहे थे, जो शहीद के पार्थिव देह के साथ ही गांव पहुंचे ।
कुछ महीने पहले ही गणेश लाल रेगर का एसआई की पोस्ट पर प्रमोशन हुआ था । इसी खुशी में गांव में गणेशलाल ने अपने पैतृक गांव में देवस्थान पर जागरण और रसोई का आयोजन भी प्रस्तावित किया था तथा अपनी पुत्री फोन करके इसकी जानकारी भी दी तथा बताया था कि शनिवार को अपने गांव देवगांव ड्यूटी से छुट्टी लेकर लौट रहे है, मगर शनिवार को खुद तो गांव नहीं लौट पाए मगर उनका पार्थिव देह गांव पहुंचा । जानकारी के अनुसार वे पिछले दो साल से अपने गांव नहीं लौटे थे ।